‘निपुण भारत योजना’ के तहत FLN पुरे भारत में लागू किया गया है. भारत सरकार समय-समय पर नई शिक्षा नीति लागू करती है. नई शिक्षा नीति 2020 में एफएलएन लागु करने का प्रस्ताव रखा गया. और 05 जुलाई, 2021 को FLN की शुरुआत की गयी. अब आपके मन में सवाल होगा कि FLN Kya Hai? तो आज हम जानेंगे FLN ka Full Form Kya Hai? FLN के उद्देश्य के बारे में. FLN in Hindi.
FLN ka Full Form in Hindi
FLN का फुल फॉर्म Foundational Literacy and Numeracy होता है. हिंदी में इसका मतलब ‘बुनियादी साक्षरता और संख्यात्मकता‘ होता है.
FLN Kya Hai?
FLN यानि Foundational Literacy and Numeracy (बुनियादी साक्षरता और संख्यात्मकता) होता है. यह भारत सरकार की एक नई शिक्षा नीति है, जिसे भारत सरकार ने ‘निपुण भारत योजना‘ के तहत लागू की है. FLN में 0 से 8 आयु वर्ष के बच्चों के समग्र विकास की बात की गयी है.
बुनियादी साक्षरता और संख्यात्मकता (FLN) में कहा गया है कि class 3rd तक बच्चे को कम से कम लिखने, पढने और संख्यात्मक ज्ञान सीखाया जाएं. बच्चे को कक्षा 3 तक (8 आयु वर्ष तक) कम से कम अच्छे से लिखने, पढ़ने और संख्या बोध, आकार और स्थानिक समझ, माप और Data Handling इत्यादि का ज्ञान हो, इस पर एफएलएन जोर देता है.
FLN के उद्देश्य
- खेल, खोज (Discovery based Learning) और गतिविधि-आधारित शिक्षाशास्त्र को शामिल करके बच्चों को पढाना.
- बच्चों को दैनिक जीवन (Daily Activity) स्थितियों से जोड़कर पढाना.
- बच्चों की घरेलू भाषाओं को औपचारिक रूप से शामिल करके एक समावेशी कक्षा (inclusion education) वातावरण सुनिश्चित करना.
- और समावेशी शिक्षा के माध्यम से बच्चों को पढाया जाएँ.
- बच्चों में कौशल विकास (Skill Development) किया जाएँ.
- High Quality Teaching Material बच्चों को उपलब्ध कराना, जो उन्हें सांस्कृतिक विरासतों से भी सम्बन्ध कराए.
- शिक्षण-सामग्री बच्चों की स्थानीय भाषा (Local Language) और मातृभाषा (mother tongue) में उपलब्ध हो.
- शिक्षा के स्तर का का मूल्यांकन (Evaluation) किया जाना चाहिए.
बुनियादी साक्षरता और संख्यात्मकता / FLN क्यों आवश्यक है?
- class 3rd में आने तक सभी बच्चे पढने व लिखने में सक्षम हो.
- विद्यालय छोड़ने (Drop-out) के मामलों में बढ़ोतरी हो, बच्चे विद्यालय बीच में न छोड़े.
- अनुपयुक्त भाषा व गणितीय कौशल बच्चों में विकसित हो.
FLN in Hindi
FLN का फुल फॉर्म Foundational Literacy and Numeracy (मूलभूत साक्षरता और संख्यात्मकता) होता है. NEP, 2020 में एफएलएन की बात की गयी थी. और ‘निपुण भारत योजना’ के अंतर्गत 05 जुलाई, 2021 को FLN को पुरे भारत में लागु किया गया.
- एफएलएन की शुरुआत class 3rd के बच्चों (0-8 आयु वर्ष के बच्चों) की बुनियादी शिक्षा और समग्र विकास के लिए की गयी है.
- FLN इस पर बल देता है कि तीसरी कक्षा तक बच्चों को कम से कम लिखने-पढने और संख्यात्मक (Numerical) ज्ञान हो.
- बच्चों को खेल और खोज विधि के माध्यम से दैनिक जीवन को जोड़कर पढाया जाए.
- उच्च-गुणवत्ता वाली शिक्षण सामग्री (TLM) के माध्यम से सीखाया जाए, शिक्षण-सामग्री बच्चों की मातृभाषा और स्थानीय भाषा में होनी चाहिए.
- समावेशी कक्षा वातावरण में बच्चों को समावेशी शिक्षा के माध्यम से पढाना.
- FLN बच्चों में कौशल विकास कराने पर जोर देती है.
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